बीत चली हाए राम रुत ये बहार की
बीत चली हाए राम रुत ये बहार की आए ना अब तक बालमा
धीरे धीरे टूट रही आस मेरे प्यार की
आए ना अब तक बालमा आए ना अब तक बालमा
तेरी यादो को दिलसे लगाए हुए
कब से बैठी हू अंखिया बिछाए हुए
तेरी यादो को दिलसे लगाए हुए
कब से बैठी हू अंखिया बिछाए हुए
जाने वाले जुदाई मे तेरी मुझे
जाने वाले जुदाई मे तेरी मुझे
एक जमाना हुआ मुस्कुराए हुए
बीत चली हाए राम रुत ये बहार की
आए ना अब तक बालमा हो आए ना अब तक बालमा
मेरे सावन मे दिल मेरा जलता रहा
तेरा गुम मेरे सिने मे पलटा रहा
मेरे सावन मे दिल मेरा जलता रहा
तेरा गुम मेरे सिने मे पलटा रहा
मैं खड़ी ही रही दिल को थामे हुए
मैं खड़ी ही रही दिल को थामे हुए
दर्द विरह का करवट बदलता रहा
बीत चली हाए राम रुत ये बहार की
आए ना अब तक बालमा आए ना अब तक बालमा
एक दिन आके वादा निभाओगे तुम मन के
उजड़े नगर को बसाओगे तुम
एक दिन आके वादा निभाओगे तुम मन के
उजड़े नगर को बसाओगे तुम
जी रही हू अभी तक इसी आस पर जी रही हू अभी तक इसी आस पर
आके सिने से मुझको लगाओगे तुम
बीत चली हाए राम रुत ये बहार की
आए ना अब तक बालमा हो आए ना अब तक बालमा
धीरे धीरे टूट रही आस मेरे प्यार की
आए ना अब तक बालमा हो आए ना अब तक बालमा